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वित्त मंत्री श्री देवड़ा ने मंदसौर में ली जिला क्राइसिस मैनेजमेंट की बैठक

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ज़िले के व्यापारिक प्रतिष्ठान शाम 4 बजे बंद होंगे

वित्त, वाणिज्यिक कर, योजना आर्थिक एवं सांख्यिकी तथा मंदसौर जिले के कोविड प्रभारी मंत्री श्री जगदीश देवड़ा ने कहा कि कोरोना नियंत्रण के लिए ज़िले के सभी ग्राम और शहर की जनता ने सक्रिय होकर भागीदारी निभाई है, जिससे हम कोरोना पर नियंत्रण प्राप्त करने में सफल हुए हैं। प्रदेश में कोरोना पॉजिटिविटी रेट तेज़ी से घट रहा है और रिकवरी रेट में आशातीत वृद्धि हुई है।

मंत्री श्री देवड़ा आज मंदसौर जिला क्राइसिस मैनेजमेंट की बैठक में वर्तमान परिस्थितियों को लेकर आगामी रणनीति पर चर्चा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि मंदसौर की सभी दुकानें एक साथ खुलेंगी और शाम 4 बजे बंद होंगी। सभी दुकानें एक साथ खुलने से भीड़ बट जाएगी और संक्रमण का ख़तरा कम रहेगा। उन्होंने कहा कि इसके बावजूद भी कोविड अनुकूल व्यवहार अर्थात दो गज की दूरी बनाना, बार-बार हाथ साफ़ करना और मास्क लगाना सभी को अपनी दैनिक दिनचर्या में शामिल करना होगा। उन्होंने बताया कि प्रदेश में किल कोरोना अभियान जारी है। इसमें किसी भी सर्दी, जुकाम, बुखार के लक्षण वाले व्यक्ति को तत्काल मेडिकल किट उपलब्ध करवाकर इलाज शुरू किया जाना चाहिए। 

बैठक में श्री देवड़ा ने ज़िला प्रशासन को वैक्सीनेशन कार्य की गति को बढ़ाने और आवश्यकतानुसार वैक्सीन सेंटर बढ़ाने के भी निर्देश दिये। जिससे लक्षित समूह का टीकाकरण हो सके। उन्होंने जिलेवासियों से अपील की कि कोरोना से बचाव के लिये वैक्सीनेशन अवश्य करवायें। वैक्सीनेशन कोरोना से बचाव के लिये सुरक्षा कवच का कार्य करेगा और संक्रमण से लड़ने की क्षमता बढ़ायेगा। श्री देवड़ा ने कहा कि 15 जून के बाद पुनः क्राइसिस मैनेजमेंट की बैठक होगी, जिसमें लॉकडाउन के संबंध में आगामी रणनीति पर विचार-विमर्श किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सम्पूर्ण ज़िले  के लिए सर्विलेंस टीम गठित होगी। जिले में कोविड प्रोटोकॉल का पालन हो यह सुनिश्चित किया जाएगा। बैठक में सांसद श्री सुधीर गुप्ता, विधायक श्री यशपाल सिंह सिसोदिया, कलेक्टर सहित जिले के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।

बरगद का पौधा रोपा

वित्त मंत्री श्री देवड़ा ने सुशासन भवन परिसर में बरगद का पौधा लगाया। उन्होंने कहा कि पेड़ लगाना भारतीय संस्कृति की परंपरा है। इसमें सभी को अपना पूरा योगदान देना चाहिए। बरगद का पेड़ हमारी संस्कृति की अमूल्य धरोहर है।